पन्ना: श्रीमद् भागवत कथा में सातवें दिन सुनाया गया श्रीकृष्ण व सुदामा चरित्र

श्रीमद् भागवत कथा में सातवें दिन सुनाया गया श्रीकृष्ण व सुदामा चरित्र
  • श्रीमद् भागवत कथा में सातवें दिन सुनाया गया श्रीकृष्ण व सुदामा चरित्र
  • कृषि उपज मण्डी प्रांगण में चल रही श्रीमद्भागवत कथा

डिजिटल डेस्क, देवेन्द्रनगर नि.प्र.। देवेंद्रनगर निवासी द्वारका प्रसाद गुप्ता के द्वारा कृषि उपज मंडी में श्रीराधा कृष्ण जी की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा कराकर संगीतमय श्रीमद् भागवत का आयोजन कराया जा रहा है। श्रीमद भागवत कथा के सातवें दिन सुदामा चरित्र के वर्णन के साथ कथाव्यास पंडित जगदीश प्रसाद शास्त्री द्वारा सुदामा चरित्र का वर्णन किए जाने पर पंडाल में उपस्थित श्रोता भाव-विभोर हो गए। महाराज श्री ने कहा कि मित्रता करो तो भगवान श्रीकृष्ण और सुदामा जैसी करो। वहीं महाराज जी ने सुदामा चरित्र प्रसंगों का सुंदर वर्णन किया। सुदामा जी जितेंद्रिय एवं भगवान श्री कृष्ण के परम मित्र थे।

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भिक्षा मांगकर अपने परिवार का पालन पोषण करते थे। गरीबी के बावजूद भी हमेशा भगवान के ध्यान में मग्न रहते। पत्नी सुशीला सुदामा जी से बार-बार आग्रह करती कि आपके मित्र तो द्वारकाधीश हैं उनसे जाकर मिलो शायद वह हमारी मदद कर दें। सुदामा पत्नी के कहने पर द्वारका पहुंचते हैं और जब द्वारपाल भगवान श्रीकृष्ण को बताते हैं कि सुदामा नाम का ब्राम्हण आया है तो भगवान श्री कृष्ण यह सुनकर नंगे पैर दौङकर आते हैं और अपने मित्र को गले से लगा लेते हैं। चल रही श्रीमद् भागवत कथा के पंडाल में सुदामा जी की दीन दशा देखकर लोग भाव विभोर हो गए वहीं महाराज जी ने कुछ भजन गए और आरती हुई जिस श्रृद्धालु जमकर नाचें।

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Created On :   23 April 2024 7:51 AM GMT

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