बिहार: अररिया में झोपड़ी में गेंहूं की बालियां सेंक रहे 6 बच्चों की आग की चपेट में आने से मौत, भागलपुर में में तीन की जलने से गई जान

Six children burnt alive as straw house catches fire in Bihars Araria
बिहार: अररिया में झोपड़ी में गेंहूं की बालियां सेंक रहे 6 बच्चों की आग की चपेट में आने से मौत, भागलपुर में में तीन की जलने से गई जान
बिहार: अररिया में झोपड़ी में गेंहूं की बालियां सेंक रहे 6 बच्चों की आग की चपेट में आने से मौत, भागलपुर में में तीन की जलने से गई जान

डिजिटल डेस्क, पटना। बिहार के अररिया व भागपलुर जिलों में आज (मंगलवार, 30 मार्च) आग में झुलसने से नौ बच्चों की मौत हो गई। अररिया के पलासी ब्लॉक में मंगलवार को एक दिल दहलाने वाली घटना हुई। गेहूं की बालियां भून रहे छह बच्चों की आग में जलने से मौत हो गई। वहीं, भागलपुर में भी एक घर में लगी आग में तीन अन्य बच्चों की मौत हो गई।

पहली घटना अररिया क्षेत्र के कवैया गांव में सुबह करीब सवा नौ बजे हुई। एक साथ 6 बच्चों की आग में जलने से मौत होने के बाद पूरे गांव में मातम का माहौल है। बताया जा रहा है कि ये सभी झोपड़ी में गेंहू की बाली सेंक रहे थे। पास में ही मवेशियों का सूखा चारा रखा था, जिसमें चिंगारी से आग लग गई और बच्चे उसमें घिर गए। 

मदद के लिए चीखते हुए तोड़ा दम
प्रशिक्षु पुलिस उपाधीक्षक एजाज हफीज ने बताया कि बच्चे गेहूं की बालियां भून रहे थे, उसी दौरान आग से निकली चिंगारी पास की एक फूंस की झोपड़ी पर पड़ी, जिससे झोपड़ी में आग लग गई। बच्चे डर से झोपड़ी के भीतर छुपने गए और वहीं आग की चपेट में आ गए। झोपड़ी में आग लगते ही आसपास के ग्रामीण मौके पर पहुंचे, लेकिन आग इतनी तेजी से लगी कि उस पर काबू पाना मुश्किल हो गया। मासूमों ने मदद के लिए चीखते-चीखते दम तोड़ दिया।  

 

मृतक सभी बच्चे ढाई से 5 साल की उम्र के 
जान गंवाने वाले बच्चों की उम्र ढाई से पांच साल है। मृतक बच्चों की पहचान अफसर (5), गुलनाज (2.5), दिलबर (4), बरकस (3), अली हसन (4) और खुशनेहा (2.5) के रूप में हुई है। मृतक अली हसन के चाचा ने बताया कि आग अचानक फैल गई और आग कि लपटें तेजी से बढ़ने लगी। इससे पता कर पाना मुश्किल था कि अंदर कितने बच्चे मौजूद हैं। बाद में जब आग पर काबु पाया गया तब पता चला कि घर के 6 बच्चे थे, जिनकी आग में झुलस ने से मौत हो गई। 

परिजनों को 4-4 लाख के इनाम की घोषणा
मृत बच्चों के परिजनों को सरकार ने 4-4 लाख रुपए मुआवजा देने का एलान किया है। वहीं घटना कि जानकारी मिलते ही पुलिस और प्रशासनिक आधिकारी मौके पर पहुंचे। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
 
गांव के लोगों ने आग बुझाने कि कोशिश की
वहां मौजूद लोगों ने बताया कि घर के जिस कमरे में बच्चे थे, वहीं पास में सूखी घास रखी थी। जिस वजह से आग और ज्यादा बड़ गई। आग पर काबू पाने के लिए आसपास के लोगों ने अपने संसाधनों से आग को भुझाया। बाद में फायर ब्रिगेड भी आधे घंटे के अंदर ही घटनास्थल पर पहुंच गई थी। इस वजह से आग ज्यादा फैल नहीं पाई और एक ही घर उसकी चपेट में आया।

एसा ही हादसा 15 दिन पहले बिहार के किशनगंज में हुआ था
15 मार्च को किशनगंज के एक घर में आग लगने से परिवार के मुखिया और उनके चार बच्चों की मौत हो गई थी। हादसा गैस सिलेंडर में आग लगने से हुआ था। जिस कारण गैस सिलेंडर फट गया था और शव क्षत-विक्षत हो गए थे। पत्नी को गंभीर हालत में हॉस्पिटल में भर्ती किया गया था।

भागलपुर में घर में खाना बनाते वक्त हादसा
उधर, भागलपुर जिले के पीरपैंती थाना क्षेत्र के परशुरामपुर गांव में सोमवार रात खाने बनाने के दौरान एक घर में लगी आग की चपेट में आकर तीन बच्चों की झुलसने से मौत हो गई जबकि बच्चों को बचाने की कोशिश में बच्चों के माता-पिता बुरी तरह झुलस गए।

कहलगांव के अनुमंडल पदाधिकारी सुजय कुमार सिंह ने हादसे की पुष्टि करते हुए मंगलवार को बताया कि अधिकारियों की टीम को घटनास्थल के लिये भेजा गया है। रिर्पोट मिलने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। मृतकों में पेशे से मजदूर लालमुनि मंडल के पांच साल के पुत्र सूरज कुमार, तीन साल की पुत्री प्रीति और एक साल की बेटी नैना कुमारी शामिल हैं। जख्मी लालमुनि और उनकी पत्नी को स्थानीय रेफरल अस्पताल पहुंचवाया। दोनों झुलसे दंपती खतरे से बाहर बताए जाते हैं।

 

Created On :   30 March 2021 3:32 PM GMT

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