गरीबों तक न्याय पहुंचाना एक बड़ी चुनौती,मप्र न्यायाशीश संघ के द्विवार्षिक अधिवेशन में बोले सीएम

Cm kamalnath big statement on judicial officers association biennial covention
गरीबों तक न्याय पहुंचाना एक बड़ी चुनौती,मप्र न्यायाशीश संघ के द्विवार्षिक अधिवेशन में बोले सीएम
गरीबों तक न्याय पहुंचाना एक बड़ी चुनौती,मप्र न्यायाशीश संघ के द्विवार्षिक अधिवेशन में बोले सीएम

डिजिटल डेस्क,जबलपुर।  न्याय गरीबों तक कैसे पहुंचे, यह एक बड़ी चुनौती है। उन्होंने कहा कि इसके लिए न केवल हाईकोर्ट, बल्कि जिला अदालतों का भी आधुनिकीकरण किया जाएगा। प्रदेश में कृषि व रोजगार को भी बड़ी चुनौती है। यह विचार सीएम कमलनाथ ने मप्र न्यायाधीश संघ के द्विवार्षिक अधिवेशन का शुभारंभ करने के बाद उपस्थित न्यायाधीशों को संबोधित करते हुई कही।
आजादी व समानता की सीमा, न्याय की सीमा नहीं-
रामपुर स्थित विद्युत कंपनी के तरंग प्रेक्षागृह में शनिवार की सुबह 11 बजे कार्यक्रम का शुभारंभ सरस्वती मां के तैल चित्र के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन कर किया गया।  मुख्यमंत्री कमलनाथ ने अध्यक्ष की आसंदी से अपने उद्बोधन में कहा कि भारत विश्व का सबसे बड़ा प्रजातंत्र है। यहां इतनी विविधता है कि उत्तर-दक्षिण में ही संस्कृति पहनावा बदल जाता है। उन्होंने कहा कि प्रजातंत्र के दो महत्वपूर्ण पहलुओं समानता और आजादी की सीमाएं हैं, लेकिन  न्याय अपरिमित है।
3 दिसंबर को मनाएंगे एडवोकेट्स डे-
सीएम ने कहा कि न्यायदान  में वकीलों की अहम भूमिका है। उन्होंने कहा कि इसे देखते हुए सरकार ने हर साल 3 दिसंबर को एडवोट्स डे मनाने का फैसला लिया है।
सरकार करेगी सहयोग-
सीएम ने कहा कि बदलाव हर जगह हो रहे है। इसके चलते रोजगार भी कम हो रहे हैं। इन समस्याओं का बेहतर निदान किया जाएगा। उन्होंने आशा जताई कि  मप्र में न्यायिक जगत आगे बढ़ेगा। सरकार बेहतर न्यायिक व्यवस्था बनाने में पूरा सहयोग करेगी।
न्यायिक बजट बढ़ाने की मांंग-
राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने हाईकोर्ट के जजों की गौरवशाली परंपरा का उल्लेख करते हुए कहा कि जस्टिस जीपी सिंह, जेएस वर्मा जैसे जजों का देश की न्यायपालिका में अहम योगदान रहा। इन की स्मृति में प्रेरणास्पद कार्यक्रम किए जाने चाहिए। उन्होंने निचली अदालतों में बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए न्यायिक बजट बढ़ाने की मांग की।
महाकौशल के लिए सीएम संकल्पित--
विधि एवं विधायी कार्य मंत्री पी सी शर्मा ने कहा कि ग्रामीण इलाकों में ग्राम न्यायालयों की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। गंभीर मामलों के लिए फास्टट्रैक कोर्ट की व्यवस्था होगी। उन्होंने सीएम कमलनाथ के जबलपुर से विशेष लगाव का जिक्र करते हुए बताया कि सीएम यहां  के विकास के लिए संकल्पित हैं।  चीफ जस्टिस एस के सेठ ने कहा कि न्यायपालिका को मूलभूत सुविधाएं, भविष्य में आने वाले आर्थिक अपराध मामले बड़ी चुनौती हैं। कार्यक्रम को हाईकोर्ट के प्रशासनिक जस्टिस एचजी रमेश, जबलपुर जिले के पोर्टफोलियो जज आरएस झा, महाधिवक्ता राजेंद्र तिवारी ने भी संबोधित किया।

Created On :   16 Feb 2019 12:14 PM GMT

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