Bikaner Land Scam: वाड्रा के करीबी महेश नागर के ठिकानों पर ED की रेड

ED Raids on Robert Vadras Close Aide Mahesh Nagar
Bikaner Land Scam: वाड्रा के करीबी महेश नागर के ठिकानों पर ED की रेड
Bikaner Land Scam: वाड्रा के करीबी महेश नागर के ठिकानों पर ED की रेड

डिजिटल डेस्क, फरीदाबाद। सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा की मुश्किले बढ़ती दिखाई दे रही है। बीकानेर में जमीन खरीद मामले में रॉबर्ट वाड्रा पर प्रवर्तन निदेशालय (ED) का शिकंजा कसता जा रहा है। शुक्रवार को ED ने रॉबर्ट वाड्रा के करीबी महेश नागर नाम के एक व्यक्ति के फरीदाबाद स्थित परिसरों पर छापेमारी की है। महेश नागर तिगांव से कांग्रेस विधायक ललित नागर के भाई है। बता दें कि ईडी राजस्थान में बीकानेर के सीमावर्ती इलाके के कोलायत इलाके में जमीन की खरीद में कथित घोटाले की जांच कर रही है।

 


बीकानेर से टीम सीधे पहुंची फरीदाबाद
ED की टीम ने शुक्रवार सुबह करीब 11 बजे फरीदाबाद के खेड़ी रोड स्थित महेश नागर के कार्यालय पर छापेमारी शुरु की। कार्यालय में उस समय कुछ कर्मचारी मौजूद थे। इसके थोड़ी देर बाद ललित नागर भी वहां पहुंच गए। दरअसल ललित के भाई महेश नागर पर आरोप है कि उन्होंने रॉबर्ड वाड्रा के लिए अपने परिचितों के नाम से जमीन खरीदी थी। इससे पहले ईडी की टीम उनके ड्राइवर अशोक को गिरफ्तार कर चुकी है। इस बार भी ईडी की टीम बीकानेर से ही फरीदाबाद पहुंची और टीम में लगभग 10-15 अधिकारी व कर्मचारी शामिल रहे।

 



महेश नागर के करीबी हैं रॉबर्ट वाड्रा
महेश नागर कांग्रेसी नेता तो है ही साथ ही उनके राहुल गांधी के जीजा रॉबर्ट वाड्रा से करीबी संबंध हैं। नागर एमएस स्काइलाइट हॉस्पिटालिटी प्राइवेट लिमिटेड से जुड़े हुए बताए जा रहे हैं। इस कंपनी के तार भी वाड्रा से जुड़े हुए बताए जा रहे हैं। ये भी कहा जा रहा है कि वाड्रा ने जमीन खरीदने का कानूनी प्राधिकार कांग्रेस नेता महेश नागर को दे रखा था। जबकि फर्जी किसान के रूप में भी ऐसे ही अधिकार महेश नागर के ड्राइवर अशोक के पास थे। इस प्रकार फर्जीवाड़ा कर जमीन खरीदी जा रही थी।

दो मुख्य जालसाज हुए थे गिरफ्तार
इससे पहले बीते साल 22 दिसंबर को प्रवर्तन निदेशालय ने कथित राजस्थान भूमि घोटाले से जुड़े दो "मुख्य जालसाजों" को गिरफ्तार किया था। इस घोटाले में एक आतिथ्य कंपनी भी शामिल है, जिसके निदेशकों में रॉबर्ट वाड्रा का नाम भी शामिल है। जयप्रकाश भार्गव और अशोक कुमार को गुरुवार (21 दिसंबर) को गिरफ्तार किया था। एजेंसी ने एक बयान में कहा, "कुमार को महेश नागर के लिए इस्तेमाल किया गया था।" बयान में दावा किया गया कि स्काईलाइट हॉस्पिटैलिटी ने 69.55 हेक्टेयर जमीन को 72 लाख रुपये में खरीदा था और फिर एलेगेंनी फिनलीज नामक कंपनी को 5.15 करोड़ रुपये में बेचकर 4.43 करोड़ रुपये का लाभ कमाया था। 

Created On :   9 Feb 2018 1:18 PM GMT

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